अपर आयुक्त ने राशि निकाली
आयुक्त ने नोटिस थमाया.....!
श्री मंडलोई
उज्जैन। अपर आयुक्त वित्त के पद पर रहते हुए,नियम विरुद्ध राशि का आहरण करना,निगम के गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ है।इस मामले का खुलासा पिछले सप्ताह हुआ।तब जाकर आयुक्त नगर निगम ने अपर आयुक्त को नोटिस थमा दिया। जिसमे राशि आहरण को गबन बताया गया है।
आयुक्त अंशुल गुप्ता की कार्यशैली अलग तरीके की है।वह चुपचाप रहकर अपना काम करते है।जब वक्त आता है तो सटीक प्रहार करते है।जैसे उन्होंने अभी अभी अपर आयुक्त आर पी मंडलोई पर किया। वित्त में अपर अपर आयुक्त रहते हुए श्री मंडलोई ने जो गलती करी।वह अब जाकर आयुक्त को पता चली।तो उन्होंने बगैर देर किए ऐसा नोटिस थमाया।जो आगे जाकर ,अपर आयुक्त के निलंबन का कारण बन सकता हैं।
6 लाख का गबन...
निगम के भरोसेमंद सूत्रों का कहना है कि जारी नोटिस में 6लाख 37 हजार का जिक्र है। यह राशि बगैर सक्षम स्वीकृति के निकाली गई।तत्कालीन अपर आयुक्त वित्त श्री मंडलोई ने 14 साल की एरियर राशि तब निकाल ली,जब वह वित्त के मुखिया थे।तब श्री मंडलोई ने खुद के हस्ताक्षर का उपयोग करके,6 लाख की राशि निकाल ली।आडिट विभाग से भी स्वीकृति करवा ली। इसके अलावा चिकित्सा भत्ता भी निकाल लिया।,यह राशि करीब 2 लाख बताई जा रही हैं। मगर जारी नोटिस में चिकित्सा भत्ता राशि का खुलासा नही किया हैं।
उल्लंघन...
निगम आयुक्त अंशुल गुप्ता के निर्देश पर वर्तमान अपर आयुक्त आदित्य नागर ने नोटिस तैयार करवाया।6 बिंदु वाले इस नोटिस में यह साफ साफ उल्लेखित है कि श्री मंडलोई ने जो एरियर और चिकित्सा भत्ता आहरित किया है। वह नियम विरुद्ध है।आयुक्त से स्वीकृति नही ली गई।जो कि गबन की श्रेणी में आता है।
अंशुल गुप्ता
इनका कहना है
मैने कोई भी काम नियम विरुद्ध नही किया है।मुझे नोटिस मिला था।जिसका मैने जवाब दे दिया है।
आर पी मंडलोई
अपर आयुक्त