30 जनवरी 2023 (हम चुप रहेंगे)
एक हुनर है चुप रहने का, एक ऐब है कह देने का !
बयान ...
किसी भी अपराधी को सजा दिलाने के लिए फरियादी को अपने बयान पर कायम रहना पड़ता है। अगर बयान बदल दे तो, अपराधी का बचना पक्का हो जाता है। यह बात हम नहीं कह रहे है। बल्कि शिवाजी भवन के गलियारों में बयान बदलने की चर्चा सुनाई दे रही है। मामला पिछले साल का है। जब अपने पपेट जी, शिवाजी भवन के मुखिया थे। उस दौरान एक उपयंत्री का विवाद हुआ था। 2 कमलप्रेमी नेताओं से। जिसका वीडियों भी वायरल हुआ था। तब अपने पपेट जी के निर्देश पर उपयंत्री ने प्रकरण दर्ज करवाया था। धारा 354 का। दोनों कमलप्रेमी नेता इस मामले में आरोपी बने थे। लेकिन राजनीतिक दबाव के चलते गिरफ्तारी नहीं हुई थी। अब इस मामले में नया मोड आ गया है। शिवाजी भवन के गलियारों में चर्चा आम है कि ... फरियादी उपयंत्री ने बयान बदल दिये है। बयान किसके दबाव में बदले, इसको लेकर सभी चुप है। तो हम भी अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
फटकार ...
घटना 26 जनवरी से 1 दिन पहले की है। घटनास्थल दशहरा मैदान है। जहां पर फायनल रिहर्सल हो रही थी। उसी दौरान एक वर्दीवाले अधिकारी को आक्रोश आ गया। आसमान नाम के पर्यायवाची अधिकारी, वैसे तो हमेशा शांत नजर आते है। लेकिन उस दिन उनका आक्रोश चरम पर था। इसलिए उन्होंने मातहत अधिकारी को सबके सामने जोरदार फटकार लगा दी। इस घटना के समय अपने उम्मीद जी और कप्तान जी भी थोड़ी सी दूरी पर मौजूद थे। मातहत अधिकारी, इस फटकार के बाद चुप हो गये। तो हम भी अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
गुमशुदा ...
अगर कोई गुमशुदा हो जाये तो वर्दी के पास जाकर शिकायत की जाती है। लेकिन अगर वर्दीधारी अधिकारी ही गायब हो जाये। तो उसकी शिकायत कहां की जायेंगी। इस सवाल का जवाब, इन दिनों वर्दीवाले ही ढूंढ रहे है। इशारों-इशारों में शहर के एक वर्दीवाले अधिकारी की खोजबीन की जा रही है। आखिर कहां लापता है। लेकिन किसी को कुछ पता नहीं चल रहा है। देखना यह है कि शहरी क्षेत्र में नम्बर-2 की हैसियत रखने वाले अधिकारी आखिर कब और कहां मिलते है। तब तक हम अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
न्याय ...
अपने उम्मीद जी न्यायप्रिय है। हर मंगलवार को जनता के साथ न्याय करते है। लेकिन एक मामले में उनकी न्याय प्रणाली पर, उनके ही मातहत सवाल उठा रहे है। मामला एक संस्था की जमीन पर कचराघर स्थापित करने से जुड़ा है। बगैर खोजबीन किये, निजी संस्था की जमीन को सरकारी जमीन समझ लिया। उस पर स्मार्ट कार्यालय का धन खर्च करके कचराघर भी बना दिया। जिसके बाद से जिस संस्था की जमीन है। उसके संचालक चक्कर खा रहे है। सहकारिता विभाग ने भी इस मामले में पत्र लिखकर आपत्ति दर्ज करवा दी है। जमीन की डिमांड की है। लेकिन अपने न्यायप्रिय उम्मीद जी इस मामले को लेकर चुप है। तो हम भी उनकी चुप्पी का सम्मान करते हुए, अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
सपना ...
अपने विकास पुरूष ने सालो पहले एक सपना देखा था। दशहरा मैदान पर झंडावंदन करने का। वह सपना आखिरकार पिछले सप्ताह पूरा हो गया। जिसके लिए उनको अनंत बधाई। मगर, उनका सपना पूरा होना कई कमलप्रेमियों को अखर गया। तभी तो हर साल की तरह इस साल दशहरा मैदान पर कमलप्रेमियों की संख्या उंगलियों पर गिने जाने लायक थी। जबकि इसके पहले कमलप्रेमियों की संख्या अच्छी-खासी समारोह में नजर आती थी। अब कमलप्रेमियों की जलन का तो कोई इलाज हमारे पास है नहीं। इसलिए हम अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
5 सितारा ...
हमारे शहर में जल्दी ही एक 5 सितारा होटल तैयार हो जायेंगा। जिसके लिए भूमि पूजन भी हो गया है। चिंतामण जाते वक्त ब्रिज के समीप ही इस होटल का निर्माण होगा। लॉ- मेरेडियन ग्रुप इस होटल का संचालन करेंगा। ऐसा हम नहीं, बल्कि कमलप्रेमी बोल रहे है। इस होटल का मालिक कौन है? इस सवाल को लेकर कमलप्रेमियों के मुंह पर ताला लग जाता है। वह चुप हो जाते है। तो हम भी अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
मजाक ...
उत्तर क्षेत्र के नगर सेवक इन दिनों अपने ही साथियों का मजाक बना रहे है। शिवाजी भवन के गलियारों से लेकर कमलप्रेमियों के बीच इस मजाक की खूब चर्चा है। दबी जुबान से बोला जा रहा है। दक्षिण के नगरसेवकों को फरमान जारी हुआ है। फरमान यह है कि ... वार्ड में कोई भी विकास कार्य हो। उसके लिए पहले फाइल कार्यालय में जमा कराये। उस फाइल की जांच होगी। इसके लिए एक व्यक्ति को अधिकृत कर दिया गया है। जांच के बाद ही अनुमति मिलेगी। तब ही विकास कार्य होंगे। इस नये फरमान से दक्षिण के नगरसेवक दु:खी है और उत्तर वाले नगरसेवक उनका मजाक उडा रहे है। जिसमें हम क्या कर सकते है। हम तो बस अपनी आदत के अनुसार चुप रह सकते है।
16 मिनिट 53 सेकेंड
दाल-बिस्किट वाली तहसील में एक आडियों वायरल हो रहा है। जिसकी अवधि 16 मिनिट 53 सेकेंड है। इस आडियों में एक पंजाप्रेमी नेत्री की आवाज है। यह आडियों सुनकर हर कोई इमोनशनल हो जायेगा। आडियों में पंजाप्रेमी नेत्री का दु:ख साफ-साफ झलक रहा है। इशारा अपने पंजाप्रेमी पहलवान और उनके साहेब- जायदाद की तरफ है। पंजाप्रेमी नेत्री खुद को रोते-रोते जिंदा लाश बता रही है। यह तक बोल रही है कि ... एक शरीर हासिल करने के लिए मेरी आत्मा को मार दिया। पंजाप्रेमी पहलवान को धृतराष्ट्र की उपाधि दे रही है। दाल-बिस्किट वाली तहसील में यह चर्चा जोरो पर है कि ... आडियों 5 दिन पहले वायरल किया गया है। बहरहाल इस आडियों को सभी ने सुना है। पंजाप्रेमी हो या कमलप्रेमी। मगर सभी चुप है। तो हम भी अपनी आदत के अनुसार चुप हो जाते है।
भड़ास ...
पिछले दिनों एक बैठक हुई। ग्रामीण कमलप्रेमियों की। जिसमें अपने वजनदार जी, लेटरबाज जी और दिल्ली वाले नेताजी मौजूद थे। जहां पर अपने दिल्ली वाले नेताजी ने मंच से ही अपने वजनदार जी के खिलाफ, खुलकर भड़ास निकाली। हालांकि उनकी भड़ास का कमलप्रेमियों पर कोई असर नहीं हुआ। दिल्ली वाले नेताजी ने खिसियानी बिल्ली वाले अंदाज में श्रेय लेने की कोशिश की। उनका कहना था कि ... जो भी विकास कार्य केन्द्र से स्वीकृत हो रहे है। वह उनके कार्यकाल के दौरान स्वीकृत हुए थे। इसलिए, वजनदार जी इसका श्रेय ना ले। भड़ास निकालने के चक्कर में यह तक बोल दिया कि ... कार्यालय पर लिखवा रखा है कि स्थानांतरण के लिए संपर्क ना करे। जबकि उनके कार्यालय के दलाल इसी काम में लगे रहते है। इसके बाद बारी अपने वजनदार जी की थी। जिन्होंने अपनी सज्जनता का परिचय दिया। भड़ास नहीं निकाली। उन्होंने साफ लफ्जों में कहा कि ... प्रधानमंत्री के निर्देशन में ही विकास हो रहा है। लेकिन इसके लिए प्रयास करने पड़ते है। ताज्जुब की बात यह है कि ... यह बैठक मिशन-2023 और 24 के लिए बुलाई गई थी। जिसमें कमलप्रेमियों को यह बताना था कि ... कैसे आगे काम करना है। लेकिन आपसी जलन के चलते बैठक भड़ास में तब्दील हो गई। ऐसा हम नहीं, बल्कि बैठक में शामिल कमलप्रेमी ही बोल रहे है। जिसमें हम क्या कर सकते है। हम तो बस अपनी आदत के अनुसार चुप रह सकते है।
मेरी पसंद ...
राजा बोला रात है
रानी बोली रात है
मंत्री बोला रात है
सन्तरी बोला रात है
ये सुबह-सुबह की
बात है।
गोरख पांडे ...
000000000000000000000000000000000
आखिर किसको 'डब्बू ' बोला ... प्रदेश भाजपा प्रभारी ने ... !
उज्जैन। भाजपा के प्रदेश प्रभारी मुरलीधर राव ने रविवार को लोकशक्ति कार्यालय पर बैठक ली। नगर जिला पदाधिकारियों की बैठक थी। बैठक शुरू होने से पहले कोर-ग्रुप की बैठक हुई। जिसमें प्रदेश भाजपा प्रभारी ने डब्बू शब्द का उपयोग किया। जिसके बाद कमलप्रेमियों में यह चर्चा सुनाई दी कि ... प्रदेश भाजपा प्रभारी ने नगर जिला अध्यक्ष के लिए इस शब्द का उपयोग किया ?
विश्वसनीय सूत्रों का कहना है कि कोर-ग्रुप की बैठक में प्रदेश भाजपा प्रभारी ने अपनी नाराजगी दिखाई। श्री राव ने इस बात पर नाराजगी दिखाई कि ... नगर जिला पदाधिकारियों को अभी तक कोई काम नहीं दिया गया है। उनकी इस नाराजगी का असर यह रहा कि ... बैठक के 2 घंटे बाद ही नगर जिला पदाधिकारियों को दिये गये दायित्व की सूची भी जारी हो गई।
इस बैठक में संभाग प्रभारी आलोक शर्मा, जिला प्रभारी संगीता सोनी, जगदीश अग्रवाल, इकबालसिंह गांधी, जिलाध्यक्ष विवेक जोशी, महामंत्री विशाल राजोरिया, संजय अग्रवाल, सत्यनारायण खोईवाल सहित अनिल जैन कालूहेडा शामिल थे। सूत्रों का कहना है कि प्रदेश भाजपा प्रभारी ने एमआईसी गठन को लेकर भी निर्देश दिये। उन्होंने वरिष्ठता के आधार पर पार्षदों को एमआईसी में शामिल करने के लिए कहा। इसके अलावा श्री राव ने यह भी कहा कि ... आप एक्सटेंशन पर हो। उनका इशारा भाजपा जिला नगर अध्यक्ष की तरफ था ?